अग्नि कांड ग्रस्त शिशु अस्पताल मामले में सौरभ भारद्वाज के ओ.एस.डी. डा. आर.एन. दास की भूमिका बेहद संदिग्ध-वीरेन्द्र सचदेवा
सत्येन्द्र जैन की भी भूमिका संदिग्ध -- वीरेन्द्र सचदेवा
डा. आर.एन. दास पर अस्पताल मालिक से मिलीभगत का मामला दर्ज हो – वीरेन्द्र सचदेवा
2016 से अग्नि शमन विभाग प्रमुख बने अतुल गर्ग के कार्यकाल में अग्नि शमन विभाग भ्रष्टाचार का अड्डा बना — वीरेन्द्र सचदेवा
नई दिल्ली। दिल्ली भाजपा के अध्यक्ष वीरेन्द्र सचदेवा ने कहा है कि विवेक विहार स्थित आग ग्रस्त शिशु अस्पताल मामले में स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज के ओ.एस.डी. एवं 2021 में तत्कालीन मेडिकल सुपरिटेंडेंट नर्सिंग होम्स डा. आर.एन. दास की भूमिका बेहद संदिग्ध है।
वर्ष 2021 में स्वास्थ विभाग ने एक इंस्पेक्शन में इस शिशु अस्पताल को केवल पांच बच्चों की देखभाल योग्य पाया था पर तब डा. आर.एन. दास ने अस्पताल मालिक के आवेदन के आधार पर बिना जांच 10 बच्चों के इलाज की क्षमता स्वीकृत करने का प्रयास किया था और फीस जमा भी करवा दी थी।इसके बावजूद आग के समय अस्पताल में 12 बच्चे भर्ती थे जो साफ करता है अस्पताल लगातार अनधिकृत रूप से चल रहा था और इसे दिल्ली सरकार का संरक्षण प्राप्त था और इसलिए कभी स्थानीय आर.डब्ल्यू.ए. की शिकायतों पर भी सुनवाई नहीं हुई है।
दिल्ली भाजपा अध्यक्ष ने कहा है कि डा. आर.एन. दास 2021 के तत्कालीन स्वास्थ मंत्री सत्येन्द्र जैन से लेकर वर्तमान स्वास्थ मंत्री सौरभ भारद्वाज के बेहद नजदीकी रहे हैं।इस अस्पताल के मामले में सत्येन्द्र जैन एवं सौरभ भारद्वाज की भूमिका भी संदिग्ध है और इन दोनों की भी अवैध रूप से अस्पताल चलाने में भूमिका की जांच आवश्यक है।
उन्होंने कहा कि यह आवश्यक है कि अस्पताल मालिक के साथ ही डा. आर.एन. दास पर भी मिलीभगत एवं लापरवाही का मामला दर्ज हो और उनकी भी जांच एवं गिरफ्तारी हो।इस सारे मामले में अग्नि शमन विभाग की जांच भी आवश्यक है क्योंकि गत कुछ वर्षों में अनेक बड़ी आग दुर्घटनाएं हुई हैं पर हर बार दिल्ली में सैकड़ों अवैध फैक्ट्रियों, गोदामों आदि के मामले आये हैं। दिल्ली में लगातार 2016 से अतुल गर्ग अगणि शमन विभाग के प्रमुख बने बैठे हैं और इस दौरान अग्नि शमन विभाग के सर्वो में भ्रष्टाचार के मामले सामने आये है और शिशु अस्पताल मामले मे भी दिल्ली अगणि शमन विभाग की लापरवाही से अवैध गैस फिलिंग प्लांट चल रहा था।